संयुक्त राज्य अमेरिका के सुप्रीम कोर्ट (SCOTUS) ने शनिवार को 2008 के मुंबई आतंकी हमलों से जुड़े दोषी तहव्वुर राणा को भारत प्रत्यर्पित करने की अनुमति दे दी।
यह निर्णय प्रत्यर्पण के खिलाफ उसकी याचिका को खारिज करने के बाद आया है, जिसे राणा ने 13 नवंबर, 2024 को प्रस्तुत किया था। अपनी याचिका में, राणा ने तर्क दिया कि मुंबई हमलों से संबंधित आरोपों पर इलिनोइस की एक संघीय अदालत में उस पर पहले ही मुकदमा चलाया जा चुका है और उसे बरी कर दिया गया है, साथ ही उसने यह भी तर्क दिया कि उसे भारत प्रत्यर्पित करने पर उसी आरोपों पर उसे दूसरी बार मुकदमा चलाना पड़ेगा, जिससे संभावित रूप से उसे दोषी ठहराया जा सकता है और मौत की सजा हो सकती है।
SCOTUS ने अंततः राणा की याचिका को अस्वीकार कर दिया, जो निचली अदालतों में पिछली अपीलों को हारने के बाद प्रत्यर्पण से बचने का उसका आखिरी कानूनी अवसर था। यह फैसला आधिकारिक तौर पर दर्शाता है कि उसके प्रत्यर्पण के लिए सभी कानूनी बाधाएं हटा दी गई हैं, जिससे भारतीय अधिकारी अपनी अभियोजन योजनाओं के साथ आगे बढ़ सकते हैं।
ऐसा माना जाता है कि पाकिस्तानी मूल के कनाडाई नागरिक राणा ने हमलों की योजना बनाने और उसे अंजाम देने में अहम भूमिका निभाई थी। राणा ने कथित तौर पर हमलों से पहले किए गए टोही मिशनों के लिए यात्रा व्यवस्था और रसद सहायता प्रदान की थी।
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